हरियाणवी मुहावरे
1. खुरी खोदना - बल प्रदर्शन करना
वाक्य - मेले की कुश्ती में दोनों पहलवान खुरी खोद रहे थे.
2. जड़ पाड़ना - समूल नाश करना
वाक्य - पिछले साल की बाढ़ नै म्हारी फ़सल की जड़ पाड़ दी.
3.ठोड़ी पकड़ना - मिन्नतें करना
वाक्य -सुनीता अपने प्रैक्टिकल के पेपर म्ह नंबर बढ़वान खातर आशा मेडम की ठोड़ी पकड़ै थी.
4. ठाड़ा छिकना - तृप्त हो जाना
वाक्य - मनोज सुबेरे तै भूखा था. वो एक भंडारे म्ह चल्या गया अर उड़ै तै ठाड़ा छिक कै आया.
5. आळ करणा- दंगा करना
वाक्य - आज रोहित कै घणी चोट लाग्गी क्योंकि पेड़ पै चढ़कै आळ करै था.
6. चिलम भरना - ख़ुशामद करना
वाक्य - आजकाळ के बाळक कॉलेज में पढ़ते तो सैं कोन्या अर सारी हान मास्टरां की चिलम भरे जावें सै.
7.धिकताना करणा - जबरदस्ती करना
वाक्य - आज गोपी भैंस नै नयी कराण ले ज्या था तो वा जावै ना थी उस गैल धिकताना करना पड़ रैहा था.
8. थेकळी चढ़ाना - गरीबी में दिन काटना
वाक्य - अजय की तीन महीने की तन्खा ना मिली तो आजकाल वो थेकळी चढ़ाकै काम चला रेहा सै.
9.गंगाजल ठाणा - कसम खाना
वाक्य - जब पुलिस चोर की खोजबीन करै थी तो रमलू नै बेक़सूरी खातर गंगाजल ठा लिया.
10.बारबाट होणा- नष्ट होना
वाक्य - बिना मौसम की बरसात नै सारी फ़सल का बारबाट कर दिया.
11.कौळी भरना -गले लगाना
वाक्य - जब राम फौज तै आया तो उसके भाई राज नै भाज कै उसकी कौळी भरली.
12. ची बोलना - तौबा करना
वाक्य - जब तै रामफळ का चलाण कट्या वो बिना हेलमेट मोटरसाईकिल पै चालन तै ची बोल ग्या.
हरियाणा की लोकोक्तियाँ
1. बूढ़ी घोड़ी लाल लगाम - बुढ़ापे में अनावश्यक श्रृंगार शोभा नहीं देता.
वाक्य - जब से श्यामली दादी ने नकली बाळ लगवाए हैं सारे गाम के माणस कहण लागे बूढ़ी घोड़ी लाल लगाम.
2.जीसी नाचकूद उसी ए वारफेर - मेहनत के अनुसार फल मिलता है
वाक्य - रोहित जाकै अपणे मास्टर तै बोल्या "जी मेरे नंबर कम दिए सै आपणे "तो मास्टर बोल्या "जीसी तेरी नाचकूद थी उसी ए वारफेर कर दी तेरी".
3.तावळा से बावळा - उतावला व्यक्ति विवेक शून्य हो जाता है.
वाक्य - जबसे सज्जन की सगाई होइ, वो सारे कामां नै गलत करदे सै जणो तावला से बावळा हो ग्या हो.
4.गां की भैंस तलै, भैंस की गां तलै - कठिन परिस्थिति में जीवन यापन करना.
वाक्य - जब तक रामलाल का छोरा पढ़-लिख कै अफ़सर नहीं बण ग्या रामलाल नै सारी उमर गां की भैंस तलै अर भैंस की गां तलै राख्यी.
5.दूध की रूखाळी बिल्ली राखणा -बेईमान व्यक्ति को विश्वसनीय कार्य सौंपना.
वाक्य -ब्याह मैं किसे शराबी तै दारू के ठिकाणे की चाबी देणा इसा सै जणो दूध की रूखाळी बिल्ली राखणा.
6. अपणा मारै छां मैं गेरै - सबको अपने के प्रति आत्मीय लगाव होता है.
वाक्य - किसै नै भी माँ-बाप की किसै बात का बुरा नहीं मानणा चहिये क्योंकि सबनै बेरा सै के अपणा मारेगा तो छां मैं गेरैगा.
7.ठाली बैठी नाण, काटड़े मुंडे -उपयोगी कार्य के अभाव में निरुपयोगी कार्य करना.
वाक्य -जबतै कोरोना फैला सै सब जगह इसा हो रैया सै जणो ठाली बैठी नाण, काटड़े मुंडे.
8.मुस्से नै पागी हल्दी की डली, पंसारी ए बण बैठ्या -छोटी सी उपलब्धि पर घमंड करना.
वाक्य - एक नए लेखक की रचणा अख़बार मैं छपगी. वो तो इसा हो ग्या जणो मुस्से नै पागी हल्दी की डली, पंसारी ए बण बैठ्या.
9.झोटयां की लड़ाई मैं झूंडां का खो -बलवान के झगडे में कमजोर को हानि होती है.
वाक्य -गाम मैं राम अर श्याम का ज़मीन पै रौळा था. उस ज़मीन नै गिरधारी बोया करदा. इस रोळे मैं राम जाकै कोरट तै सटे ले आया. गिरधारी गैल तो ईसी बणगी जणो झोटयां की लड़ाई मैं झूंडां का खो.
10.छाज तो बोलै-बोलै छाळणी बी बोलै जिसमैं बहतर छेद -दोषी व्यक्ति को दूसरों के दोष गिनाना शोभा नहीं देता.
वाक्य -जिसनै खुद गलती कर राखी हो उसनै दूसरे की गलती नहीं छांटणी चहिये नहीं तो वाहे कहावत हो ज्यागी छाज तो बोलै-बोलै छालणी बी बोलै जिसमैं बहतर छेद.
11.अपणा भरया तै जगत का भरया -स्वार्थी व्यक्ति दूसरों की परवाह नहीं करता है.
वाक्य -सकूल मैं राजू के वजीफे के पिसे आगे तो उसनै दोस्तां की बाते बूझणि छोड़ दी जणो अपणा भरया तै जगत का भरया.
12.आपए मरे स्वर्ग दीखैगा -अपना काम तो खुद करने से ही होता है.
वाक्य -इस दुनियां मैं कोय किसै खातर कुछ नहीं करता आपए मरे स्वर्ग दिखया करै.
द्वारा - सुरेंद्र सैनी बवानीवाल "उड़ता "
713/16 छावनी झज्जर (हरियाणा )
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