वर्ष-3 अंक -1 जनवरी 2021 से मार्च 2021
करें ईश्वर से यह प्रार्थना सभी,
सदैव रहे प्रसन्न चित्त हम सभी l
आइए प्रसन्न चित्त रहने का लाभ जानते हैं,
प्रसन्न चित्त रहने का रहस्य जानते हैं l
प्रसन्न रहना एक कला है,
जो हर एक में कहां है l
जिसने इस कला को पहचाना है,
उसी ने जीवन का मूल अर्थ जाना है l
प्रसन्न चित्त व्यक्ति का एक विशेष गुण होता है,
वह हर किसी का सिर्फ गुण देखता है l
वह सकारात्मक सोच का मिसाल होता है,
वह सकारात्मक उर्जा का केंद्र होता है l
प्रसन्नता का एक ही रहस्य है,
जिसने लुटाई खुशियां वही प्रसन्न है l
प्रसन्न चित्त व्यक्ति के दुश्मनों की एक मुश्किल है,
हर हाल में उनकी हार निश्चित है l
प्रसन्न चित्त व्यक्ति की प्रसन्नता उसके अपनों की राहत है,
प्रसन्न चित्त व्यक्ति की प्रसन्नता उसके दुश्मनों की बौखलाहट है l
आइए हम सब मिलकर ईश्वर से प्रार्थना करते हैं,
सदैव प्रसन्न चित्त रहने का संकल्प लेते हैं l
हर परिस्थिति में अपनों का साथ देते हैं,
खुद प्रसन्न रह अपनों को प्रसन्न रखते हैं l
*अल्पना दुबे*
*बेंगलुरु*
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