किस्मत का इंतजार-माधुरी

 साजन ही तो किस्मत है
जिनके इंतजार में जगती हूं।
आज भी आपके इंतजार में
हर पल रह जोहती हूं।
दरवाजे पर खड़ी गुमसुम सी
आपको ही ढूंढती हूं।
सूरज से सिंदूर चुरा कर,
माथे पर बिंदिया चमका कर,
में शाम सवेरे करती हूं श्रृंगार।
यही तो है मेरा प्यार,
यही तो है मेरा प्यार।
आंचल की किनारी को
 पकड़े दांतों से दबाये।
आंखों में मैंने बहके
काजल भी लगाए।
सब बिखर गया मेरा
आंसुओं से बहके।
पूछे सब क्यों रोए
 तू यूं चुपके चुपके।
कैसे कह दूं कि नहीं है
उन्हें मुझे एतबार।
ये तो है सिर्फ मेरे
किस्मत का इंतजार।
आप कितने भी दूर रहिए।
मैं आपका इंतजार करूंगी।
जिंदगी के हर मोड़ पर सिर्फ
आपका इंतजार करूंगी।
कभी ना कभी तो मुझ पर
छलकेगा आपका प्यार।
कभी ना तो कभी खत्म होगा
किस्मत का इंतजार।
किस्मत ही सजना है
 साजन ही किस्मत है।
जिन्हें है मुझसे बेहद प्यार।
मुझे है उसी किस्मत का इंतजार।।
माधुरी सिंह
पटना, बिहार
7488297438


 

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